देहरादून। प्रदेश के परिवहन मंत्री यशपाल आर्य द्वारा परिवहन विभाग से सम्बन्धित विभागीय अधिकारियों के साथ विधान सभा कक्ष में बैठक की समीक्षा की गयी। बैठक में परिवहन निगम को घाटे से निकालने के लिए हर संभव प्रयास करने के निर्देश दिये। इस सम्बन्ध में सामूहिक प्रयास पर बल देते हुए बचत के लिए खर्च में कटौती और आय बढाने का प्रयास करने के निर्देश दिये, ताकि समय पर वेतन भत्ते का लाभ दिया जा सके। निगम के कर्मचारी, चालक, परिचालक इत्यादि के कोविड के कारण मृत्यु होने पर दिये जाने वाली विभागीय सहायता राशि के संदर्भ में बैठक करने के निर्देश दिये।
उत्तर प्रदेश परिवहन निगम से उत्तराखण्ड परिवहन निगम को प्राप्त होने वाली परिसम्पत्तियों के संदर्भ में मजबूत पैरोकारी नही करने पर असन्तोष व्यक्त किया। परिवहन विभाग से सम्बन्धित उत्तर प्रदेश और उत्तराखण्ड के मध्य सम्पत्ति का विवाद आपसी समन्वय और बातचीत से हल करने का निर्देश दिये। इस संदर्भ में प्रभावी कार्य करने के निर्देश दिये।
परिवहन निगम के अन्तर्गत एकत्रित स्क्रैब की नीलामी को समय से करने के निर्देश दिये गये। उत्तराखण्ड परिवहन निगम के द्वारा बैंक से लिये जाने वाली 175 करोड लोन को चुकाने की कार्ययोजना बनाने के निर्देश दिये गये। बैठक में लोन लेने की प्रवृत्ति को हतोत्साहित करने के और खर्चो में कटौती, संचालन सुधार, बिना टिकट यात्रा करा रहे परिचालको के विरूद्ध कठोर कार्यवाही करने के निर्देश दिये गये। इसके अलावा निगम के ढाॅचे की पुर्न संरचना एवं कार्मिको के हितों के सम्बन्ध में निर्णय लेने के निर्देश दिये गये, जिससे कार्मिकों के पूरी क्षमता का उपयोग किया जा सके। निगम की स्थिति के सुधार के लिए बसों में डीजल के स्थान पर सीएनजी किट लगाये जाने के सम्बन्ध में त्वारित गति से कार्यवाही करने के निर्देश दिये।