देहरादून। प्रदेश की महिला कल्याण एवं बाल विकास विभाग राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) रेखा आर्या ने विधान सभा स्थित सभाकक्ष में राज्य के सभी जनपदों के जिला प्रोबेशन अधिकारियों के साथ वीडियो काॅन्फ्रंसिंग, जूम एप के माध्यम से केन्द्र एवं राज्य पोषित
महिला कल्याण विभाग द्वारा संचालित विभिन्न योजनाओं की समीक्षा बैठक की।
उन्होंने कहा की महिला कल्याण विभाग द्वारा समाज की ऐसी महिलाओं, बालिकाओं और बालकों के बारे में जो समाज की मुख्यधारा में नहीं जुड़ पाये हैं, उन सबके सम्बन्ध में विशेष संवेदनशीलता दिखाई जाय।
निराश्रित एवं अनाथ महिला एवं बच्चों के सम्बन्ध में चलाई जाने वाली योजनाओं की जानकारी का व्यापक प्रचार-प्रसार किया जाय।
बैठक में कोरोना काल के दौरान विभाग द्वारा संचालित गतिविधियों की भी समीक्षा की गयी।
विभिन्न जनपदों द्वारा सैनिटाईजिंग, फागिंग एवं दवाओं का छिड़काव, मास्क बनाने का कार्य एवं आईसोलेशन वार्ड बनाये जाने की,
इसके अतिरिक्त कोविड के रोकथाम के लिए योगा कार्यक्रम की जानकारी दी गयी। स्टाफ एवं सहवासनियों को कोविड बचाव का विशेष प्रशिक्षण दिया जा रहा है।
राजकीय शिशु सदन, बालगृह इत्यादि स्थलों पर स्टाफ की ट्रेनिंग में संवेदनशीलता के विकास के लिए क्षमता विकास कार्यक्रम प्रशिक्षण के सम्बन्ध मंे भी निर्देश दिया गया।
भावनाओं को जागृत करने के सम्बन्ध में बच्चों में किस प्रकार सकारात्मक परिवर्तन किया जा सकता है,
इसके सम्बन्ध में संवेदनशीलता एवं मनोवैज्ञानिक प्रभाव की जानकारी प्राप्त करने के लिए प्रशिक्षण कार्यक्रम चलाये जाने की सम्भावनाओं पर विचार किया।
अनाथ बच्चों के लिए जनपदों में प्रायोजित प्रोग्राम की समीक्षा की गयी, 90 से 60 बच्चों के लिए प्रायोजित प्रोग्राम में पिथौरागढ़ बागेश्वर एवं अल्मोड़ा ने बेहतरीन प्रदर्शन किया है,
लेकिन उत्तरकाशी एवं हरिद्वार के संतोषजनक प्रगति न प्राप्त होने पर 40 बच्चों का लक्ष्य दिया गया है।