ताइपे । चीन के स्वास्थ्य विशेषज्ञों ने कहा है कि उनका देश कोरोना वायरस टीकाकरण के मामले में सुस्त है, क्योंकि उसने बड़े स्तर पर महामारी पर काबू पा लिया है, लेकिन उसकी जून तक देश की 40 प्रतिशत आबादी का टीकाकरण करने की योजना है। राष्ट्रीय स्वास्थ्य आयोग से जुड़े विशेषज्ञों के एक समूह का नेतृत्व कर रहे झोंग नानशान ने ब्रूकिंग्स इंस्टीट्यूशन और त्सिंगहुआ यूनिवर्सिटी द्वारा आयोजित अमेरिकी एवं चीनी चिकित्सकीय विशेषज्ञों के ऑनलाइन कार्यक्रम में सोमवार को कहा कि देश में 28 फरवरी तक पांच करोड़ 252 लाख लोगों को टीका लगाया जा चुका था। चीन ने दिसंबर मध्य से टीकाकरण शुरू किया था।
इसके बाद से उसने सार्वजनिक तौर पर पहली बार टीकाकरण संबंधी कोई संख्या बताई है। झोंग ने कहा कि चीन अन्य देशों की तुलना में टीकाकरण में धीमा रहा है।
उसने 1.4 अरब की जनसंख्या में अब तक प्रति 100 लोगों में 3.56 को टीके की खुराक दी हैं। इस मामले में सबसे आगे इजराइल है, जिसने प्रति 100 लोगों में से 94 लोगों को खुराक दे दी हैं। अमेरिका में प्रति 100 में से 22 लोगों को टीका लगाया गया है। चीनी स्वास्थ्य विशेषज्ञों ने कहा कि देश के पास अपनी जनसंख्या के लिए टीकों की पर्याप्त आपूर्ति है और उसने करीब आधा अरब खुराक अन्य देशों में भेजने का संकल्प लिया है।
संक्रामक रोग विशेषज्ञ झांग वेनहोंग ने कहा, ‘‘चीन में संक्रमण को व्यापक स्तर पर काबू किए जाने के कारण टीकाकरण की मौजूदा गति बहुत धीमी है, लेकिन मुझे लगता है कि देश के पास पर्याप्त क्षमता है।’’ चीन में स्वीकृत चार टीकों के निर्माताओं का कहना है कि वे इस साल के अंत तक 2.6 अरब खुराक तैयार कर सकते हैं।
इसके बावजूद चीन की बड़ी आबादी का टीकाकरण मुश्किल काम होगा। झांग ने कहा कि यदि प्रतिदिन एक करोड़ लोगों का भी टीकाकरण किया जाए, तो भी 70 प्रतिशत आबादी के टीकाकरण में सात महीने का समय लगेगा।