नई दिल्ली। राहुल गांधी ने आरोप लगाया कि सरकारकोरोना वायरस के संकट के समय लोगों और सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्योग (एमएसएमई) क्षेत्र की इकाइयों को नकद सहयोग नहीं देकर अर्थव्यवस्था को बर्बाद कर रही है।
उन्होंने यह भी दावा किया कि सरकार का यह रुख ‘नोटबंदी 2.0’ है।
गांधी ने एक खबर शेयर करते हुए ट्वीट किया, सरकार लोगों और एमएसएमई को नकद सहयोग देने से इनकार
करके हमारी अर्थव्यवस्था को सक्रियता के साथ नष्ट कर रही है। यह नोटबंदी 2.0 है।
गौरतलब है कि राहुल गांधी और कांग्रेस पिछले कई हफ्तों से सरकार से यह मांग कर रहे हैं कि गरीबों, मजदूरों और एमएसएमई की वित्तीय नकद मदद की जाए।
उनका कहना है कि लोगों को खातों में अगले छह महीनों के लिए 7500 रुपये महीने भेजे जाएं और तत्काल 10 हजार रुपये दिए जाएं।
हाल ही में अर्थव्यवस्था को पटरी पर लाने के लिए
राहुल गांधी ने बजाज ऑटो के प्रबंध संचालक राजीव बजाज से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए बात की।
इसमें भी उन्होंने गरीबों के खाते में नकद हस्तांतरण की बात की थी।
बातचीत में बजाज ने कहा था कि लोगों की सोच बदलने और जीवन को पटरी पर लाने की जरूरत है।
इसमें लंबा समय लग सकता है। आम आदमी के नजरिए से लॉकडाउन काफी मुश्किल है।
भारत जैसा लॉकडाउन कहीं नहीं हुआ। हर कोई बीच का रास्ता निकालना चाहता है।