योगी आदित्यनाथ ने पेंशन योजनाओं के लाभार्थियों के खाते में ऑनलाइन धनराशि भेजी

वृद्धावस्था, विधवा, दिव्यांग और कुष्ठावस्था पेंशन की धनराशि ऑनलाइन हंस्तारित

लखनऊ। लॉकडाउन के मद्देनजर प्रदेश सरकार जरूरतमंद लोगों को सभी आवश्यक सुविधाएं प्रदान करने के साथ उन्हें आर्थिक रूप से भी मदद प्रदान कर रही है। इसी कड़ी में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अपने सरकारी निवास पांच कालीदास मार्ग पर आयोजित कार्यक्रम में विभिन्न पेंशन योजनाओं के लाभार्थियों के खाते में ऑनलाइन धनराशि भेजी। इसके तहत कुल 86,71,781 लाभार्थियों को 871.46 करोड़ रुपये की धनराशि प्रदान की गई। इस दौरान मुख्यमंत्री ने वीडियो काफ्रेंसिंग के जरिए लाभार्थियों से बातचीत भी की। मुख्यमंत्री ने 500 रुपये प्रतिमाह वृद्धावस्था पेंशन के तहत 49,87,054 लाभार्थियों को 498,7054 करोड़ धनराशि वितरित की। वहीं 500 रुपये प्रतिमाह विधवा पेंशन के तहत 26,06,213 लाभार्थियों को 26,06,213 करोड़, दिव्यांग पेंशन के तहत 10,67,786 लाभार्थियों 106,7786 करोड़ रुपये की धनराशि वितरित की। इन पेंशन योजनाओं के तहत लाभार्थियों को 500 रुपये प्रतिमाह प्रदान किये जाते हैं। इसके अलावा कुष्ठावस्था पेंशन के तहत प्रतिमाह ढाई हजार रुपये के तहत 10,728 लाभार्थियों को 5,3640 करोड़ धनराशि वितरित की गई। सभी पेंशनधारकों को दो-दो महीने की धनराशि दी गई है।
लाभार्थियों से बाचीत कर लिया हालचाल
मुख्यमंत्री ने लाभार्थियों से बातचीत की और उनका हालचाल लिया। उन्होंने लखनऊ के लाभार्थियों से पेंशन समय से मिलने को लेकर पूछा और लॉकडाउन के दौरान सरकार की ओर से पूरी मदद का भरोसा दिया। इस दौरान लाभार्थियों ने मुंह में मास्क लगाया था और सामाजिक दूरी का भी पालन किया गया।
राशन वितरण को लेकर की पुष्टि, योजनाओं की दी जानकारी
महिला लाभार्थी से बातचीत करते हुए मुख्यमंत्री ने उसे बताया कि दो महीनों की धनराशि एक साथ भेजी जा रही है। जरूरत होने पर ही धनराशि निकाले। उन्होंने महिला से बच्चों की पढ़ाई और राशन के बारे में पूछा और उसे सरकार की ओर से नि:शुल्क राशन दिए जाने की भी जानकारी दी। एक अन्य महिला से उन्होंने राशन के बारे में पूछा तो महिला ने एक माच को इसके मिलने की पुष्टि की। इसके बाद मुख्यमंत्री ने महिला को 15 अप्रैल से अभी और नि:शुल्क राशन दिए जाने की जानकारी दी। उन्होंने लॉकडाउन में बाहर नहीं निकलने को भी कहा।
गरीब की बेटी के इलाज को अधिकारियों को दिए निर्देश
वाराणसी की महिला लाभार्थी से भी मुख्यमंत्री ने संवाद किया और जानकारी ली। वहीं मुरादाबाद की महिला से बातचीत के दौरान कहा कि कोई समस्या हो तो अधिकारियों को बतायें, वह समाधान करेंगे। उन्होंने महिला लाभार्थी से दवा आदि की समस्या के बारे में भी पूछा। उन्होंने पुरुष लाभार्थी से परिवार के बारे में पूछा और उसे योजना की जानकारी दी। यहां लाभार्थी ने अपने बेटी की गरीब आर्थिक स्थिति का हवाला देते हुए इलाज में मदद की जरूरत जतायी। इस दौरान मुख्यमंत्री ने तुरन्त समाज कल्याण अधिकारी को जिलाधिकारी के माध्यम से रिपोर्ट भेजने को कहा। उन्होंने सम्बन्धित लाभार्थी को पूरी मदद का भरोसा दिलया और कहा कि इलाज में कोई कमी नहीं होने दी जाएगी। सरकार पूरी तरह से इसका इसका इंतजाम करेगी। मुख्यमंत्री ने चित्रकूट में भी लाभार्थी से संवाद किया। यहां उन्होंने एक अन्य लाभार्थी से बच्चों की पढ़ाई के बारे में जानकारी की। इसी तरह सहारनपुर के लाभर्थियों से उन्होंने संवाद किया। वहीं सीतापुर के लाभार्थी दिनेश कुमार यादव ने तो भावविभोर होकर मुख्यमंत्री जी के लिए कविता भी पढ़ी।
योजनाओं का लाभ मिलने पर गरीब पीड़ा भूलकर देश की लड़ाई में बनता है सहभागी
मुख्यमंत्री ने कहा कि पूरी दुनिया वैश्विक बीमारी करॉना वायरस के खिलाफ लड़ाई लड़ रही है। देश में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में 21 दिन के लॉकडाउन में हम इसके सहभागी बने हैं। उन्होंने कहा कि गरीब कल्याण की योजनाओं का लाभ हर गरीब, वंचितों तक समयबद्ध तरीके से प्रशासनिक मशीनरी जब पहुंचाती है। तो वह स्वभाविक रूप से अपनी पीड़ा को भूलकर समाज और देश की लड़ाई में सहभागी बनता हुआ दिखाई देता है। हम मौजूदा परिस्थिति में सरकार हर गरीब के सम्बल के रूप में खड़ी है। हम उन्हें अनाथ, असहायों की तरह नहीं छोड़ सकते। इसलिए विभिन्न योजनाओं के जरिए उनकी मदद की जा रही है, इससे उनके चेहरे पर खुशी देखी जा सकती है।
गरीबों के चेहरे पर खुशी देखकर समझा जा सकता है धनराशि का महत्व
मुख्यमंत्री ने कहा कि पहली अप्रैल को 88 लाख मनरेगा श्रमिकों के खाते में 611 करोड़ की धनराशि भेजी गई। आज 871 करोड़ 46 लाख 93 हजार की धनराशि पेंशन योजनाओं के लाभार्थियों के खाते में भेजी गई। पांच सौ रुपये प्रतिमाह की धनराशि अन्य लोगों के लिए छोटी हो सकती है, लेकिन गरीबों के चेहरे पर खुशी देखकर समझा जा सकता है कि उनके लिए इसका कितना महत्व है। सबसे बड़ी प्रसन्नता का विषय है कि धनराशि समय से लोगों को मिल रही है। यह सुशासन की प्रमुख और प्रभावी कार्यवाही का हिस्सा है। ये राशि गरीबों को उनके आवश्यक कार्यों के लिए मददगार बर सकेगी। लॉकडाउन के दौरान हमने किसानों, मनरेगा श्रमिकों, पेंशन योजनाओं को लाभार्थियों आदि की मदद के लिए कदम उठाये हैं। इससे हर गरीब के चेहरे पर खुशहाली आयी है।
बेसिक शिक्षा महकमे की ओर सीएम राहत कोष में 76.14 करोड़
इस मौके पर बेसिक शिक्षा राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) सतीश द्विवेदी ने प्रदेश भर के बेसिक स्कूलों के शिक्षकों और शिक्षा अधिकारियों की तरफ से सीएम राहत कोष में सहयोग करते हुए 76.14 करोड़ की धनराशि प्रदान की। मुख्यमंत्री ने इसके लिए प्रदेश भर के शिक्षकों, शिक्षिकाओं व शिक्षा अधिकारियों का आभार जताया। इस मौके पर पिछड़ा वर्ग कल्याण एवं दिव्यांगजन सशक्तीकरण विभाग मंत्री अनिल राजभर,बेसिक शिक्षा राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) सतीश द्विवेदी, मुख्य सचिव आरके तिवारी,अपर मुख्य सचिव अवनीश अवस्थी सहित अन्य वरिष्ठ अफसर मौजूद रहे।
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