नई दिल्ली। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता पी चिदंबरम ने कहा कि कृषि कानूनों को लेकर चल रहे गतिरोध को खत्म करने के लिए सरकार पहले अपनी ‘गलती’ स्वीकार करनी चाहिए और फिर नए सिरे से बातचीत शुरू करनी चाहिए। उन्होंने ट्वीट किया कि जैसा कि उम्मीद थी, किसानों और सरकार के बीच वार्ता का एक और दौर विफल रहा है। दोष सरकार का है क्योंकि वह विवादित कानूनों से छुटकारा पाने के लिए सहमत नहीं होगी।
पूर्व वित्त मंत्री ने दावा किया कि आरटीआई आवेदनों से मिली जानकारी ने सरकार के झूठे को बेनकाब कर दिया कि कृषि अध्यादेशों को जारी करने से पहले व्यापक विचार-विमर्श किया गया था। उन्होंने कहा कि सच्चाई यह है कि किसी से भी सलाह नहीं ली गई थी। राज्य सरकारों से परामर्श नहीं किया गया था। चिदंबरम ने कहा कि गतिरोध से बाहर निकलने का एकमात्र तरीका सरकार को अपनी गलती स्वीकार करना और नए सिरें से बात शुरू करने के लिए सहमत होना है।